बजट सत्र में 75 साल से ऊपर वालों को मिला तौफ़ा 

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बजट सत्र में 75 साल से ऊपर वालों को मिला तौफ़ा


केंद्रीय वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण ने आज अपना तीसरा बजट पेश कर दिया हैं. कोरोना काल में पेश होने वाला यह पहला बजट है जो पूरी तरह से पेपरलेस रहा. बजट इतिहास में पहली बार बजट कागज नहीं छापने का फैसला किया गया है. वित्‍त मंत्री निर्मला ने आम बजट पेश करते हुए कई अटकलों पर विराम भी लगा दिया है. वित्‍त मंत्री निर्मला सीतारमण की ओर से पेश हुए आम बजट में इनकम टैक्‍स में छूट के प्रावधानों नौकरीपेशा की नजरें टिकी थीं. लेकिन इस बार बजट में इनकम टैक्‍स स्‍लैब में कोई बदलाव नहीं किया गया है. 

हालांकि वित्‍त मंत्री ने 75 साल के अधिक उम्र के बुजुर्गों के लिए इनकम टैक्‍स रिटर्न फाइलिंग में राहत की घोषणा की है.जिसके अनुसार अब 75 साल से अधिक उम्र वाले पेंशनधारकों को इनकम टैक्‍स नहीं भरना होगा. वित्‍त मंत्री निर्मला सीतारमण ने घोषणा की है कि सरकार 75 साल से अधिक उम्र के बुजुर्गों पर पड़ने वाला दबाव कम करने जा रही है. 75 साल से अधिक के उन बुजुर्गों जिनकी आय का स्रोत सिर्फ पेंशन है, उन्‍हें अब इनकम टैक्‍स रिटर्न नहीं भरना होगा. हालांकि वित्‍त मंत्री ने यह भी कहा कि भुगतानकर्ता बैंक उनका जरूरी कर काट लेंगे.

बजट में वित्‍त मंत्री ने घोषणा की है कि छोटे करदाताओं के लिए मुकदमेबाजी को और कम करने के लिए विवाद समाधान समिति गठित करने का प्रस्ताव किया गया है. ये पारदर्शिता सुनिश्चित करेगी. 50 लाख रुपये तक की कर योग्य आय वाले और 10 लाख रुपये तक की विवादित आय वाले व्‍यक्ति इस समिति के समक्ष जाने के योग्‍य होंगे.